
निक्की शर्मा “रश्मि”, शिक्षा वाहिनी समाचार पत्र।
माँ सजा अब फिर तेरा दरबार
आजा फिर तू अब एक बार
हो के सिंह पर तू सवार
करूँगी तेरी जय जयकार
मिटा दे पाप सारे माँ
ले अब तू ही अवतार
झोली भर दे खुशियों से
दे सकती तू अब अपारमाँ
माँ कष्टों को निवार ले
नौ दिन नौ अवतार ले
शक्तिरूपिणी शक्ति दे
सबका कर कल्याण माँ
देर ना कर झोली भर दे माँ
सबका कर अब कल्याणमाँ
जग जननी नारायनी माँ
हर्षित मन अब कर दे माँ
मुम्बई, महाराष्ट्र